मेरी कहानी: मेरा पति अपने बॉस को घर लाता है, ताकि मैं उसको खुश कर सकूं, पति की इस समस्या का मैं क्या करुं
मैं एक विवाहिता हूं। मेरी शादी को ज्यादा समय नहीं हुआ है, लेकिन मैं एक ऐसे रिश्ते में हूं, जिसमें प्यार के अलावा सब कुछ है। दरअसल, मैं हमेशा से ही एक मॉडर्न ख्यालों वाली लड़की रही हूं। यही एक वजह भी है कि मेरी स्वतंत्रता और स्वयं निर्णय लेने की आदत ने मेरा व्यक्तित्व पूरी तरह से बदल दिया।
इसका एक कारण यह भी है कि मेरे माता-पिता ने भी कभी मुझ पर अपने सख्त फैसले और तरीके थोपने की कोशिश नहीं की है। उन्होंने हमेशा मुझे वही करने दिया है, जोकि मैं करना चाहती हूं। इसी एक चीज की उम्मीद मैंने अपने पति से भी की थी। इसलिए मैंने अपने लिए एक आदर्श मैच की तलाश की, जिसके बाद मेरी मुलाकात अविनाश से हुई।
मैं अभी तक जितने भी लड़कों से मिली थी, अविनाश उनमें सबसे अलग थे। वह बहुत ही शांत किस्म के इंसान हैं। उन्हें बहुत ज्यादा बातचीत करना पसंद नहीं है। इसलिए जब हम शादी की बात को आगे बढ़ाने के लिए पहली बार मिले, तो उन्होंने मुझसे साफतौर पर कहा कि वह चाहते हैं कि मैं अपनी जिंदगी पूरी तरह अपनी शर्तों पर जिऊं।
उन्हें मुझसे कोई उम्मीद नहीं है। मैं भी अपने लिए ऐसा ही पति चाहती थी, जिसकी वजह से मैंने तुरंत इस रिश्ते को हां कह दिया। शायद इसका एक कारण यह है भी कि मुझे एक ऐसे व्यक्ति की जरूरत थी, जो मुझे ज्यादा रोके-टोके ना। (सभी तस्वीरें सांकेतिक हैं, हम यूजर्स द्वारा शेयर की गई स्टोरी में उनकी पहचान गुप्त रखते हैं।
फिजिकल इंटीमेसी के लिए कोई जगह नहीं
एक-दूसरे को अच्छे से जानने के बाद हम दोनों ने शादी कर ली। हमने कभी भी अपने बीच किसी तरह की कोई रोमांटिक भावना पैदा नहीं की। यही एक वजह भी है कि जब हम साथ भी होते हैं, तब भी एक-दूसरे के साथ बहुत ही सहज और सुरक्षित महसूस करते हैं।
ऐसा इसलिए भी क्योंकि शादी के बाद अविनाश ने कभी भी मुझे ऐसा महसूस नहीं कराया कि हमारे रिश्ते में कोई सीमा है, जिसका मुझे पालन करना है। शादी के बंधन में रहते हुए भी यह ऐसा है, जैसा कि हम अपने सबसे अच्छे दोस्त के साथ रह रहे हों। हमने भले ही एक-दूसरे से शादी की हो, लेकिन इसके बाद भी हमारे रिश्ते में फिजिकल इंटीमेसी न के बराबर थी।
रोमांटिक रूप से हम एक साथ शामिल नहीं
मैं भी इस तरह की शादी में खुश हूं। ऐसा इसलिए क्योंकि प्यार मेरे लिए महत्वपूर्ण नहीं है। मुझे अपना जीवन बिताने के लिए किसी ऐसे व्यक्ति की जरूरत नहीं थी, जिसे मैं बहुत ज्यादा प्यार करती हूं। मुझे केवल एक ऐसे व्यक्ति का साथ चाहिए था, जो मुझे मूल रूप से मुझे समझ सके। मेरे सपनों को समझें। अपने फैसलों को मुझे थोपने की कोशिश बिल्कुल न करें।
हम बस कहने भर को साथ हैं
दूसरे शादीशुदा जोड़ों की तरह हम भी अपने रिश्ते को प्रेटेंड करने के लिए कभी-कभार पार्टियों की योजना बनाते हैं। हम एक-दूसरे के लिए सोशल मीडिया हैंडल पर प्यार भरे पोस्ट भी करते हैं। ऐसा इसलिए क्योंकि वह चाहता है कि दुनिया को पता चले कि हम एक-दूसरे से कितना प्यार करते हैं। हम एक साथ बहुत खुश हैं। मेरे साथ वह शानदार वेकेशन भी प्लान करता है। पिछले साल हम दोनों मियामी गए थे, जहां हमने साथ में अच्छा समय बिताया था।
हालांकि, आपको जानकर हैरानी होगी कि जब हम एक साथ यात्रा करते हैं, तो हम मुश्किल से ही एक-दूसरे के साथ समय बिताते हैं। हम बस कहने भर को साथ होते हैं। घर से निकलने के बाद वह अपने पसंदीदा काम करने में व्यस्त हो जाता है और मैं अपनी चीजों में खुद को बिजी कर लेती हूं।
दूसरे मर्दों के साथ रिश्ते बनाने में भी कोई परहेज नहीं
हमारे रिश्ते में बहुत आजादी है। मैं आपको बता दूं कि अविनाश को दूसरे मर्दों के साथ मेरे रिश्ते बनाने में भी कोई परहेज नहीं है। मेरा ऐसा करने पर वह बहुत खुश होता है। हालांकि, वह चाहता है कि मैं अन्य लोगों के साथ भी बातचीत करूं। वह मुझे लोगों से मिलवाते भी है। हम चाहें तो किसी के साथ रिश्ते में आ सकते हैं। वह केवल मुझसे एक चीज चाहता है कि मैं जो कुछ भी कर रही हूं, उसको लेकर बहुत सावधान रहूं ताकि हमारे करीबी दोस्तों और परिवार के सदस्यों को इस बात की भनक न लगे कि हमारे बीच क्या चल रहा है।
मैं भी यही चाहती हूं ताकि कोई भी हम दोनों पर सवाल न उठा सके। मेरी तरह वह भी चाहता है कि इस सब में हमारे परिवार वाले बिल्कुल भी शामिल न हों। ऐसा इसलिए क्योंकि हर कोई हमें समझ नहीं पाएगा। हम बस पारंपरिक जोड़े की तरह रह रहे हैं। हम साथ खुश हैं। जब तक हम खुश हैं, तब तक मेरे लिए इस रिश्ते में कुछ भी गलत नहीं है।