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Sukanya Samriddhi Yojana: सुकन्या समृद्धि योजना के नियमों में बदलाव, पैसा जमा करने से पहले जान लें सारे बदलाव वरना…

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Sukanya Samriddhi Yojana

Sukanya Samriddhi Yojana: अगर आप भी अपनी बेटी के भविष्य की प्लानिंग कर रहे हैं तो सरकार द्वारा चलाई जा रही सभी योजनाओं में निवेश कर सकते हैं। केंद्र सरकार की ऐसी ही एक योजना है 'सुकन्या समृद्धि योजना' (एसएसवाई)। इसमें 80सी के तहत निवेश पर छूट भी मिलती है। आइए जानते हैं एसएसवाई में हुए 5 बड़े बदलावों के बारे में।

तीसरी बेटी का भी खाता खुलेगा
इससे पहले 80सी के तहत टैक्स छूट का लाभ केवल दो बेटियों के खाते में ही मिलता था। यह तीसरी बेटी के लिए किसी काम का नहीं था। लेकिन अब अगर एक बेटी के बाद दो जुड़वां बेटियां हैं तो उन दोनों के लिए भी खाता खोलने का प्रावधान है।

बदला ब्याज नियम
खाते में सालाना न्यूनतम 250 रुपये और अधिकतम 1.5 लाख रुपये जमा करने का प्रावधान है। न्यूनतम राशि जमा नहीं करने पर खाता डिफॉल्ट हो जाता है। नए नियमों के तहत अगर खाता फिर से सक्रिय नहीं किया जाता है तो परिपक्वता तक खाते में जमा राशि पर लागू दर से ब्याज मिलता रहेगा। पहले ऐसा नहीं था।

खाता बंद करने के नियम में बदलाव
बेटी की मृत्यु या बेटी का निवास स्थान बदलने पर 'सुकन्या समृद्धि योजना' का खाता पहले बंद किया जा सकता था। लेकिन अब इसमें खाताधारक की जानलेवा बीमारी को भी शामिल कर लिया गया है। अभिभावक की मृत्यु की स्थिति में भी खाता समय से पहले बंद किया जा सकता है।

खाते के संचालन के नियम
पहले बेटी 10 साल में अकाउंट ऑपरेट कर सकती थी। लेकिन नए नियमों के मुताबिक अब बेटियों को 18 साल की उम्र से पहले अकाउंट ऑपरेट करने की इजाजत नहीं है। इस उम्र तक अभिभावक ही खाते का संचालन करेंगे।

साथ ही महत्वपूर्ण जानकारी
नए नियमों के तहत खाते में गलत ब्याज को वापस करने का प्रावधान हटा दिया गया है। इसके अलावा, हर वित्तीय वर्ष के अंत में खाते का वार्षिक ब्याज जमा किया जाएगा।

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